इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला – से शेयर मार्केट में तेजी से पैसा कमाए।

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इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला
इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला

अगर आप एक निवेशक के रूप में स्टॉक ट्रैडिंग से अधिक लाभ प्राप्त करना चाहते है तो इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला का उपयोग जरूर करे। इंट्राडे ट्रैडिंग में आप टिप्स और रणनीति के साथ अधिकतम लाभ उठा सकते हैं। आज हम इस आर्टिकल में इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला, ट्रिक्स और ट्रेडिंग तकनीक को साझा करेगे।

अधिकतर लोग इंट्राडे ट्रेडिंग के बहकावे में आ जाते है। क्योंकि इस तरीके से आप शेयर मार्केट से तेजी से पैसा कमा सकते हैं। बस कंप्यूटर स्क्रीन के सामने कुछ घंटे और आपके निवेश से धन लाभ, लेकिन ऐसा चमत्कार तभी कर सकते हैं। जब आप इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला को सही तरीके से उपयोग करना जानते हो।

इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला

एक अच्छा निवेशक भावनाओं की अपेक्षा दिमाग से काम करता है और चीजों पर अच्छी तरह से शोध करता है। आपको बस समय पर संयम बरतना है। क्योंकि सब कुछ इतना आसान नहीं होता जितना की लगता है। इंट्राडे ट्रेडिंग एक दोधारी तलवार की तरह है जहां एक चूक काफी महंगी पड़ सकती है। इंट्राडे ट्रेडिंग में सफलता के लिए कोई फूलप्रूफ नुस्खा नहीं है। हालांकि प्रॉफ़िट मैकिंग ट्रैडिंग के लिए इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला का उपयोग किया जा सकता है।

ट्रैडिंग में पैसा बनाने के लिए डे ट्रैडर अलग-अलग इंट्राडे ट्रेडिंग रणनीतियों, फॉर्मूला और ट्रेडिंग तकनीकों का उपयोग करते हैं। हम आपके लिए कुछ तकनीकों या रणनीतियों के बारे में बताएगे जिनसे मुख्यत नये ट्रैडर काफी लाभ उठा सकते हैं।

इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला और निवेश

  • निवेश के लिए सबसे अच्छा समय तब है जब बाजार नीचे जा रहा हो, हालांकि किसी भी तरह के जोखिम से बचने के लिए आपको कुछ मूलभूत सिद्धांतों को जरूर रखना चाहिए
  • स्टॉक का पीछा ना करे और जब बाजार में बैचनी या घबराहट हो तो निवेश करें
  • केवल मजबूत शेयरों में निवेश की कोशिश करें और जो अंडरवैल्यू हो
  • घाटे वाली कंपनियों में निवेश की कोशिश ना करें और डिविडेंड देने वाली कंपनियों की तलाश करें
  • हर महीने एक निश्चित रकम के साथ स्टॉक में निवेश करने की कोशिश करें
  • जब हर कोई अपने शेयर बेच रहा हो तो आप खरीदने की कोशिश करें और जब दूसरे व्यापारी खरीद लें तो अपने शेयर बेच दें
इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला
इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला

पईवोट पॉइंट थ्योरी

इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला में यह थ्योरी हमें अगले दिन के स्टॉक के लिए सपोर्ट और रेजिस्टेंस दोनों लेवल को अनैलिसिस करने में मदद करती है। इसकी मदद से हम किसी स्टॉक के पिछले दिन की ट्रेडिंग कीमतों के आधार पर अगले दिन के स्टॉक के सपोर्ट और रेजिस्टेंस पॉइंट्स को अनैलिसिस कर सकते हैं।

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सपोर्ट और रेजिस्टेंस पॉइंट समझने में बहुत आसान होते क्योंकि ये स्वयं व्याख्यात्मक होते हैं, एक स्टॉक जो ऊपर जा रहा होता है वह एक रेजिस्टेंस लेवल पर जाकर रुक सकता है और फिर वहा से वापस आ सकता है। इसी तरह, एक शेयर नीचे जाकर एक सपोर्ट लेवल पर रुक सकता है और अपनी चाल को उलट कर ऊपर आ सकता है।

पईवोट पॉइंट थ्योरी अगले दिन के इंट्राडे स्टॉक मूवमेंट का पूर्वानुमान लगाने में मदद करती है। इस थ्योरी को समझने के लिए हमें इंट्राडे ट्रेडिंग के लिए एक स्टॉक (उद्धाहरण के लिए X-इंडस्ट्रीज) का चयन करते है अब हमें इसके पिछले दिन के ट्रेडिंग डेटा की आवश्यकता होगी-

एक दिन के भीतर इसका हाई प्राइस (H), X-इंडस्ट्रीज: 1250
इंट्राडे लो प्राइस (L), X-इंडस्ट्रीज: 1200
इसके स्टॉक की पिछले दिन की क्लोजिंग प्राइस (C), X-इंडस्ट्रीज: 1225

तीन वैल्यू को जोड़ें: H+L+C=X(X=1250+1200+1225=3675)

कुल वैल्यू (P) को 3 से विभाजित करे: X/3 (P=3675/3=1225)

इसे 2 से गुणा करें: X/3*2=Y(Y=1225*2=2450)

इस वैल्यू P (1225) को पईवोट पॉइंट थ्योरी कहा जाता है, जो इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला की एक लोकप्रिय थ्योरी है। स्टॉक पईवोट पॉइंट के ऊपर व्यापार को करना जारी रखता है और पहले रेजिस्टेंस लेवल पर पहुचकर कर फिर उसके ऊपर दूसरे रेजिस्टेंस लेवल की ओर बढ़ने की संभावना होती है। यदि स्टॉक पईवोट पॉइंट से नीचे व्यापार करना जारी रखता है, तो इसके पहले सपोर्ट लेवल तक नीचे आने के बाद उसके दूसरे सपोर्ट लेवल की ओर बढ़ने की संभावना होती है।

आइए अब प्रतिरोध और सपोर्ट लेवल को कैल्कुलेट करें:

पहला रेजिस्टेंस लेवल (R1) = {पईवोट पॉइंट X 2} या Y और इंट्राडे लो प्राइस के बीच का अंतर है।

दूसरा रेजिस्टेंस लेवल (R2) = इंट्राडे हाई और लो प्राइस के बीच के अंतर के साथ पईवोट पॉइंट को जोड़ना है।

R1= Y – L = 2450 – 1200 = 1250

R2= P+ (H – L) = 1225 + (1250-1200) =1275

पहला सपोर्ट लेवल (S1) = यह Y और इंट्राडे हाई प्राइस के बीच का अंतर है।

S1 = Y – H = 2450 – 1250 = 1200

S2 = P – (H – L) = 1225 – (1250-1200) = 1175

हमे उम्मीद है की आप पईवोट पॉइंट थ्योरी की कैल्कुलेशन को समझ गये होंगे अब इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला के दूसरे सिद्धांत को समझते है।

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फ्रैक्शन थ्योरी

यह थ्योरी किसी स्टॉक के पिछले दिन के प्राइस मूवमेंट की गणना पर आधारित होती है।

स्टॉक के पिछले दिन के हाई (H), लो (L) और क्लोजिंग (C) प्राइस का योग करें और इसे 0.67 से गुणा करें (पईवोट थ्योरी के अनुसार 2:3 का अनुपात और यह स्थिर है)

(H + L + C) * 0.67 = Y = (1250 + 1200 + 1225) * 067 = 2462.25

रेजिस्टेंस (R1) = Y – L = R1 = 2462.25 – 1200 = 1262.25

सपोर्ट (S1) = Y – H = S1 = 2462.25 – 1250 = 1212.25

संभावित खरीद (P.B.) = Y – C = 2462.25 – 1225 = 1237.25

यह थ्योरी बेहद लोकप्रिय रही है लेकिन इसका उपयोग करना आसान नहीं है। इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला में हाई – लो ट्रेडिंग रणनीति का उपयोग करने के लिए यह अनुकूल है, इसे की स्थिति के अनुसार लागू करना आसान होता है।

इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला पर निष्कर्ष 

इंट्राडे ट्रेडिंग के लिए, सबसे अच्छा इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला यह है कि आप इंट्राडे के लिए ट्रेड पंच करते समय यह सुनिश्चित करें कि आपने उस विशेष स्टॉक पर पर्याप्त रिसर्च और अनैलिसिस किया है, जिसे आपको अनुशासन के साथ पालन करने की आवश्यकता है।

यह याद रखे की आपके इंट्राडे ट्रेडिंग में सुधार के लिए, इंट्राडे ट्रेडिंग के लिए सबसे अच्छा इंट्राडे ट्रेडिंग फॉर्मूला केवल अनुशासन ही होता है, इसलिए ऊपर बताए गए संकेतकों को अनुशासन के साथ पालन करे।

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