शेयर मार्केट कैसे सीखे – इसकी पूरी जानकारी हिंदी में।

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शेयर मार्केट कैसे सीखे
शेयर मार्केट कैसे सीखे

इंटरनेट के युग ने शेयर मार्केट में भाग लेना अधिक सुलभ बना दिया है। आप घर से शेयर मार्केट में व्यापार कर सकते हैं, लेकिन उससे पहले शेयर मार्केट कैसे सीखे ताकि उच्च रिटर्न प्राप्त किया जा सके। हालांकि, शेयर मार्केट को लेकर कुछ गलत धारणाये है कि इसे सीखना चुनौतीपूर्ण होता है।

शेयर मार्केट को लोग घाटे की बारूदी सुरंग कहते है। इसमे जो एक बार प्रवेश करता हैं, उसे कोई रास्ता नहीं मिलता जब तक वह अपना सारा पैसा उड़ाने ना दे। हां, ऐसा हो सकता है कि शेयर मार्केट में आपको नुकसान हो जाये, लेकिन यह तभी होगा, जब आपको कम जानकारी होगी। इसलिए हम अपने लेख शेयर मार्केट कैसे सीखे में आपको कुछ टिप्स देगे जिनसे आप नुकसान से बच सकते है।

शेयर मार्केट क्या है?

सबसे पहली बात – शेयर मार्केट क्या है, यह एक केंद्रीकृत मंच है जहां खरीदार और विक्रेता अलग-अलग कंपनियों के शेयरों में व्यापार करते हैं। व्यापारी शेयर मार्केट में ऑफ़लाइन व्यापार भी कर सकते हैं या ऑनलाइन मंच के माध्यम से भी कर सकते हैं। लेकिन यदि आप ऑफ़लाइन व्यापार करते हैं, तो आपको एक पंजीकृत ब्रोकर के माध्यम से व्यापार करना होगा।

शेयर मार्केट कैसे सीखे उसे सबसे पहला पाठ यह है की भारत में दो शेयर मार्केट हैं – बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज। यहा केवल सार्वजनिक रूप से सूचीबद्ध वे कंपनियाँ होती है जिनके पास प्रारंभिक सार्वजनिक पेशकश (IPO) है, और जो अपने शेयर को जारी करती हैं जिनका कारोबार किया जा सकता है।

शेयर मार्केट कैसे सीखे

एक सफल निवेशक बनने के लिए, आपको शेयर मार्केट को बारीकी से समझना होगा तथा व्यापार करने के विभिन्न तरीके सीखने होंगे। बाजार के विकसित होने के साथ ही स्टॉक ट्रेडिंग के पारंपरिक तरीके अब चलन में नहीं रहे हैं। यहा नीचे शेयर मार्केट कैसे सीखे उसके लिए दस सर्वोत्तम तरीके बताए गये हैं जिन पर ध्यान देकर आप स्टॉक ट्रेडिंग सीखने के साथ अपने भाग्य का स्वामी भी बन सकते है।

1.) एक ब्रोकर को किराए पर लें: सबसे पहली महत्वपूर्ण टिप्स, आपको बाजार के मूल लेआउट से परिचित होने के लिए एक एक अच्छी ब्रोकरेज फर्म की सहायता लेनी चाहिए। जो अपने ग्राहकों को निवेश के लिए शोध-आधारित विश्लेषण प्रदान करते हैं।

2.) निवेश से संबंधित पुस्तकें पढ़ें: शेयर मार्केट कैसे सीखे उसमे दूसरी टिप्स है निवेश से संबंधित पुस्तके पढ़ना क्योंकि सभी सफल निवेशको में एक बात समान रूप से पाई जाती है, निवेश संबंधित पुस्तकें पढ़ना। शेयर मार्केट में ट्रेडिंग के लिए आपके लिए उन सभी बुनियादी बिन्दुओ का ज्ञान होना आवश्यक है जो शेयरों मार्केट में की कीमतों को प्रभावित कर सकते हैं।

शेयर मार्केट कैसे सीखे
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3.) वित्तीय लेख जरूर पढ़ें: किताबें पढ़ने के अलावा, शेयर मार्केट के बारे में जानकारी इकट्ठा करने का दूसरा सबसे बढ़िया तरीका समाचार पत्रों, वित्तीय पत्रिकाओं और सोशल मीडिया पर किसी वित्तीय विश्लेषक या वित्तीय संस्था द्वारा प्रकाशित वित्तीय लेखों को पढ़ना। जहा से आपको शेयर मार्केट कैसे सीखे उससे संबंधित बहुत आवश्यक जानकारी प्राप्त होगी और आप बेहतर ढंग बाजार को समझ सकेगे।

4.) एक वित्तीय सलाहकार खोजें: वित्तीय सलाहकार की खोज शेयर मार्केट कैसे सीखे की चौथी टिप्स है क्योंकि कभी-कभी अपने दम पर व्यापार शुरू करना जटिल हो सकता है, इसलिए निवेश के लिए एक सलाहकार की आवश्यकता होगी। मेंटर उसे रखे जिसे बाजार के बारे में ज्ञान है और वह आपका मार्गदर्शन कर सके।

5.) सफल निवेशकों के बारे में अध्ययन करें: एक सफल निवेशक बनने के लिए आपको सफल निवेशको के अनुभवों से सीखना चाहिए, यह शेयर मार्केट कैसे सीखे उसकी पाँचवी टिप्स है। बाजार के लक्षणों, धारणा और निवेश प्रक्रिया को समझने के लिए निवेशको का अनुभव आपको एक सफल निवेशक के रूप में खुद को विकसित करने में मदद करेगा।

6.) बाजार पर निगरानी और विश्लेषण करें: तकनीकी विश्लेषण यनिकी उपलब्ध पिछले आंकड़ों के आधार पर बाजार में होने वाले बदलाव की भविष्यवाणी करना जो नुकसान को कम करने में मदद करती है। यह शेयर मार्केट कैसे सीखे उसकी छठी टिप्स है, एक नौसिखिए के रूप में, आपको जानकारी और अपने ब्रोकर से प्राप्त विश्लेषण के आधार पर बाजार की निगरानी और विश्लेषण करना चाहिए।

7.) वित्तीय सेमिनार और कक्षाओ में भाग लें: अपने वित्तीय ज्ञान को बढ़ाने के लिए, आप शेयर बाजार से संबंधित सेमिनार में भाग ले सकते हैं, यह शेयर मार्केट कैसे सीखे उसकी सातवी टिप्स है। एक शुरुआती निवेशक के रूप में आप वित्तीय मंच और कक्षाएं में भाग जरूर ले जो निःशुल्क और भुगतान दोनों तरह की हैं। जहा से आपको शेयर मार्केट के मूल रूप को समझने में मदद मिलेगी।

8.) अपनी गलतियों से सीखें: गलतियों से सीखना एक बेहतर निवेशक बनाने का सबसे अच्छा तरीका है। इसलिए नुकसान होने पर कभी भी निराश नहीं होना चाहिए, उसका विश्लेषण करें कहा गलती की है उसे समझने का प्रयास करे। यह शेयर मार्केट कैसे सीखे उसकी आठवी टिप्स है, क्योंकि यदि आप पिछली गलती से सीखते हैं तो आप फिर कभी वही गलती नहीं करेंगे।

9.) अपनी जोखिम लेने की क्षमता को पहचानें: शेयर बाजार में प्रवेश करने से पहले यह निर्धारित करे की आप कितना नुकसान उठा सकते हैं। यह आपको बाजार को बेहतर तरीके से समझने में मदद करेगा, यह शेयर मार्केट कैसे सीखे उसके के लिए नौवीं टिप्स है। उन निवेशों पर अपना ध्यान केंद्रित करे जहा आप निवेश कर सकते हैं। अपनी जोखिम लेने की क्षमता का पता लगने से बाजार को जानने में अधिक सहजता होगी।

10.) निवेश की लागतों को नियंत्रित करें: आप केवल बाजार की मूल बातों को जानकार मुनाफा नहीं कमा सकते। आपको निवेश प्रक्रिया की लागतों को नियंत्रित करना होगा जो आपके लाभ को प्रभावित कर सकती हैं। यह शेयर मार्केट कैसे सीखे उसकी आखिरी व दसवी टिप्स है। हमेशा एक फ्लैट शुल्क वाली ब्रोकरेज फर्म के साथ जाएं जहा से आप अन्य तरीकों के बारे में सलाह ले सके।

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शेयर मार्केट कैसे सीखे – महत्वपूर्ण टर्मिनालजी

यह शेयर मार्केट कैसे सीखे उसके बारे में बात करते समय आमतौर पर इस्तेमाल होने वाले शब्दों की यहां पर सूची दी गई है। जो आपको शेयर मार्केट को समझने में सहायता करेगी, आप इनका उपयोग कर सकते हैं।

सेंसेक्स (Sensex): सेंसेक्स बाजार पूंजीकरण के माध्यम से बीएसई पर सूचीबद्ध शीर्ष 30 शेयरों का एक संग्रह होता है।

सेबी (SEBI): भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (सेबी) किसी भी पार्टियों, कंपनियों, निवेशकों, व्यापारियों, दलालों द्वारा किए गए किसी भी धोखाधड़ी, लेनदेन और गतिविधियों की निगरानी के लिए प्रतिभूति बाजार नियामक है।

डीमैट (Demat): डीमैट, या डीमटेरियलाइज्ड अकाउंट, एक ऑनलाइन पोर्टफोलियो है जो ग्राहक के शेयरों और अन्य प्रतिभूतियों को इलेक्ट्रॉनिक (डीमैटेरियलाइज्ड) प्रारूप में रखता है।

ट्रेडिंग (Trading): यह किसी कंपनी में शेयर खरीदने या बेचने की प्रक्रिया है।

स्टॉक इंडेक्स (Stock Index): स्टॉक इंडेक्स या स्टॉक मार्केट इंडेक्स एक सांख्यिकीय स्रोत है जो वित्तीय बाजार में उतार-चढ़ाव को मापता है। वे प्रदर्शन संकेतक हैं जो एक निश्चित बाजार खंड या संपूर्ण बाजार के प्रदर्शन का संकेत देते हैं।

पोर्टफोलियो (Portfolio): यह निवेशकों के स्वामित्व वाली संपत्तियों की एक विस्तृत श्रृंखला का संग्रह है। पोर्टफोलियो में सोना, स्टॉक, फंड, डेरिवेटिव, संपत्ति, नकद समकक्ष, बांड इत्यादि से लेकर क़ीमती सामान भी शामिल हो सकते हैं।

बुल मार्केट (Bull Market): एक बुल मार्केट में, कंपनियां अधिक राजस्व उत्पन्न करती हैं, और जैसे-जैसे अर्थव्यवस्था बढ़ती है, उपभोक्ताओं को खर्च करने की अधिक संभावना होती है।

बीयर मार्केट (Bear Market): बीयर मार्केट अर्थव्यवस्था में मंदी को संदर्भित करता है, जो उपभोक्ताओं को खर्च करने की संभावना कम कर सकता है और बदले में, सकल घरेलू उत्पाद को कम कर सकता है।

निफ्टी 50 (Nifty50): निफ्टी 50 नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) में सूचीबद्ध शीर्ष 50 कंपनियों का एक संग्रह है।

स्टॉक मार्केट ब्रोकर (Stock Market Broker): स्टॉक ब्रोकर एक निवेश सलाहकार होता है जो अपने ग्राहकों की ओर से शेयरों की खरीद और बिक्री जैसे लेनदेन को अंजाम देता है।

बीड प्राइस (Bid Price): बीड प्राइस उच्चतम मूल्य है जो एक खरीदार किसी भी समय किसी स्टॉक के शेयरों की निर्दिष्ट संख्या खरीदने के लिए भुगतान करेगा।

आस्क प्राइस (Ask Price): शेयर बाजार में आस्क प्राइस से तात्पर्य उस न्यूनतम कीमत से है जिस पर एक विक्रेता स्टॉक बेचेगा।

आईपीओ (IPO): आरंभिक सार्वजनिक प्रस्ताव (आईपीओ) प्राथमिक बाजार में जनता को प्रतिभूतियों की बिक्री है। यह कंपनी के लिए लंबी या अनिश्चित परिपक्वता वाली निधियों का सबसे बड़ा स्रोत है।

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इक्विटी (Equity): इक्विटी वह मूल्य है जो शेयरधारक द्वारा प्राप्त किया जाएगा यदि कंपनी की सभी संपत्तियों का परिसमापन किया गया हो और कंपनी के सभी ऋणों का भुगतान किया गया हो।

डिविडेंड (Dividend): डिविडेंड से तात्पर्य नकद या इनाम से है जो एक कंपनी अपने शेयरधारकों को प्रदान करती है। इसे विभिन्न रूपों में जारी किया जा सकता है, जैसे नकद भुगतान, स्टॉक या कोई अन्य रूप।

बीएसई (BSE): बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई) भारत में सबसे बड़ा और पहला प्रतिभूति विनिमय बाजार है। इसकी स्थापना 1875 में नेटिव शेयर एंड स्टॉक ब्रोकर्स एसोसिएशन के रूप में हुई थी। यह भारत का पहला स्टॉक एक्सचेंज भी है और छोटे और मध्यम उद्यमों के लिए एक इक्विटी ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म प्रदान करता है।

एनएसई (NSE): नेशनल स्टॉक एक्सचेंज भारत में स्क्रीन-आधारित या इलेक्ट्रॉनिक ट्रेडिंग को लागू करने वाला पहला था। वर्ल्ड फेडरेशन ऑफ एक्सचेंज (डब्ल्यूएफई) के अनुसार इक्विटी ट्रेडिंग वॉल्यूम के मामले में यह दुनिया का चौथा सबसे बड़ा स्टॉक एक्सचेंज है।

कॉल और पुट ऑप्शन (Call & Put Option): कॉल ऑप्शन निवेशक को अंतर्निहित सुरक्षा खरीदने का अधिकार देता है, जबकि पुट विकल्प निवेशक को अंतर्निहित सुरक्षा के शेयर बेचने का अधिकार देता है। दोनों राय निवेशकों को स्टॉक की कीमत में उतार-चढ़ाव से लाभ उठाने देती हैं।

स्टॉक मार्केट के प्रकार (Types of Stock Market): स्टॉक मार्केट 2 प्रकार के होते हैं:-

  1. प्राइमेरी मार्केट: यह प्रतिभूतियां बनाता है और एक मंच के रूप में कार्य करता है जहां कंपनियां अपने नए स्टॉक विकल्प और बांड आम जनता के अधिग्रहण के लिए जारी करती हैं।
  2. सेकन्डेरी मार्केट: यहां, निवेशक उन कंपनियों को शामिल किए बिना प्रतिभूतियों में व्यापार करते हैं, जिन्होंने दलालों की मदद से उन्हें पहली बार में जारी किया था।

आस्क एण्ड क्लोज़ (Ask and Close): शेयर बाजार में ‘आस्क’ शब्द का अर्थ उस न्यूनतम कीमत से है जिस पर एक विक्रेता स्टॉक बेचेगा। ‘क्लोजिंग प्राइस’ आम तौर पर आखिरी कीमत को संदर्भित करता है जिस पर स्टॉक एक नियमित ट्रेडिंग सत्र के दौरान ट्रेड करता है।

मूविंग एवरेज (Moving Average): यह एक स्टॉक इंडिकेटर है जिसका उपयोग आमतौर पर तकनीकी विश्लेषण के लिए लगातार औसत मूल्य बनाकर मूल्य डेटा को सुचारू बनाने के लिए किया जाता है। एक बढ़ता हुआ मूविंग एवरेज इंगित करता है कि सुरक्षा एक अपट्रेंड में है, जबकि एक घटता मूविंग एवरेज डाउनट्रेंड का संकेत देता है।

शेयर मार्केट कैसे सीखे पर निष्कर्ष

भारत में शेयर मार्केट में लाभ के दृष्टिकोण से लंबी अवधि के निवेश विविध पोर्टफोलियो वाले निवेशकों के साथ एक आकर्षक अवसर हो सकता है। जबकि निवेश के साथ जोखिम जुड़े होते हैं, इसलिए शेयर मार्केट कैसे सीखे ऊपर बताए टिप्स पर जरूर ध्यान दे।

आज भारत की बढ़ती अर्थव्यवस्था अपने स्थिर आर्थिक वातावरण के कारण इसे निवेशकों के लिए एक आकर्षक गंतव्य बनाते हैं। इसलिए शेयर मार्केट कैसे सीखे उस पर पूरी तरह से शोध करके और योग्य वित्तीय विशेषज्ञों से सलाह लेकर, निवेश का निर्णय ले सकते हैं और शेयर मार्केट में निवेश के संभावित अवसरों का लाभ उठा सकते हैं।

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